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Barinder Kumar Goyal: हर खेत तक पानी कंपनी मुख्यमंत्री का सपना

by ekta
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Barinder Kumar Goyal: हर खेत तक पानी कंपनी मुख्यमंत्री का सपना

Barinder Kumar Goyal: जल संसाधन मंत्री ने भूजल संरक्षण को समय की जरूरत बताया

मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान का सपना है कि राज्य के हर खेत तक पानी पहुंचे और इस संबंध में जल संसाधन विभाग की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण हो जाती है।

जल संसाधन विभाग की प्रारंभिक बैठक की अध्यक्षता करते हुए जल संसाधन मंत्री श्री बरिंदर कुमार गोयल ने विभाग के अधिकारियों से कहा कि वे नई नीतियां बनाते समय लोगों के हित को सर्वोपरि रखें। भूजल संरक्षण को समय की जरूरत बताते हुए मंत्री ने कहा कि नहरी पानी का अधिकतम उपयोग किया जाना चाहिए। मंत्री ने इसे गर्व की बात बताया कि पिछले 2 वर्षों के दौरान 4200 किलोमीटर लंबाई वाले कुल 15914 जल चैनल बहाल किए गए हैं।

जल संसाधन विभाग के प्रमुख सचिव कृष्ण कुमार ने मंत्री को अवगत करवाते हुए बताया कि राज्य के 94 गांवों में पहली बार पानी पहुंचा है तथा 49 गांवों में 35-40 वर्षों के बाद पानी पहुंचा है। इसके अलावा, नहरों के टूटने के दौरान किसानों को बचाने के लिए लगभग 414 किलोमीटर बंद पड़ी नहरों को बहाल किया गया है तथा 100 एस्केप का निर्माण किया जा रहा है।

मंत्री ने अधिकारियों को तटबंधों को मजबूत करने के निर्देश दिए तथा इस संबंध में प्रमुख सचिव ने उनके ध्यान में लाया कि वर्ष 2023-24 के लिए नहरों तथा जलमार्गों की मरम्मत का कार्य मनरेगा के तहत 228 करोड़ रुपए की लागत से किया गया है। प्रमुख सचिव ने मंत्री के ध्यान में लाया कि मालवा, दशमेश तथा मलेरकोटला नामक 3 नहरें प्रस्तावित/निर्माणाधीन हैं तथा इसके अलावा, अवैध कब्जों की पहचान करने तथा उन्हें हटाने में सहायता करने के उद्देश्य से नदियों/नालों/चो/खाड़ियों के लिए पहली बार अधिसूचना जारी की गई है।

इसके अलावा 1536 करोड़ रुपये की लागत से दो नई लिफ्ट सिंचाई योजनाएं क्रियान्वित की गई हैं। साथ ही प्रक्रिया को सरल बनाने, मुकदमेबाजी को कम करने तथा परियोजनाओं में तेजी लाने के लिए 1873 के अधिनियम के स्थान पर नया नहर अधिनियम बनाया जा रहा है। प्रधान सचिव ने बताया कि किसानों को विभाग से संबंधित मामलों के लिए ऑनलाइन आवेदन करने में सक्षम बनाने के उद्देश्य से ई-सिंचाई नामक ऐप भी शुरू किया गया है। मंत्री ने विभाग के प्रयासों की सराहना करते हुए परियोजनाओं के क्रियान्वयन में पारदर्शिता पर जोर दिया तथा कहा कि इस संबंध में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

SOURCE: https://ipr.punjab.gov.in

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