Digital Detox : यह साल मेंटल हेल्थ पर काफी चर्चा हुई है। साल 2024 में शब्द “डिजिटल डिटॉक्स” सबसे ज्यादा बार लिया गया, और सोशल मीडिया पर इसके प्रभावों, नुकसानों और छुटकारा पाने के लिए कई टिप्स भी ट्रेंड हुए। आइए जानते हैं क्यों डिजिटल डिटॉक्स आवश्यक है, इससे होने वाले नुकसान और आवश्यक सुझाव।
Digital Detox : इस वर्ष मानसिक स्वास्थ्य मुद्दे काफी चर्चा में रहे हैं। साथ ही, कई अध्ययन युवाओं की मानसिक स्थिति पर पड़ रहे जोर और उससे राहत पाने के तरीकों पर भी केंद्रित हैं। इस साल आपने Digital Detox शब्द का प्रयोग किया और सुना होगा। यह शब्द हमारी सोशल यानी इलेक्ट्रॉनिक गैजेट से जुड़ा हुआ है। पिछले कुछ सालों में लोगों को मोबाइल फोन और सोशल मीडिया से दूरी बनाने के लिए जागरूकता फैलाने के लिए कई सेमिनार और कार्यक्रम आयोजित किए गए हैं, लेकिन युवा पहले से भी अधिक समय मोबाइल फोन और सोशल मीडिया पर बिताने लगे हैं। आइए जानें डिजिटल डिटॉक्स क्या है, इसका हमारे स्वास्थ्य पर क्या असर है और इससे बचने के तरीके।
Digital Detox का अर्थ क्या है?
आजकल स्मार्टफोन, लैपटॉप और अन्य डिजिटल उपकरणों का अत्यधिक उपयोग हमारी मानसिक और शारीरिक सेहत पर बुरा असर डालता है। सीधे शब्दों में, डिजिटल डिटॉक्स का मतलब है डिजिटल उपकरणों से कुछ समय के लिए दूर रहना। 2024 में स्वास्थ्य क्षेत्र में कई महत्वपूर्ण बदलाव और ट्रेंड्स देखने को मिले, जिसमें डिजिटल दुनिया पर बढ़ते प्रभाव, मानसिक स्वास्थ्य पर बढ़ती चिंता और बेहतर जीवनशैली पर नए विचार ने लोगों को अपनी सेहत पर अधिक ध्यान देने के लिए प्रेरित किया। डिजिटल डिटॉक्स शब्द इसी डिजिटल दुनिया से आया है।
डिजिटल डिटॉक्स की आवश्यकता क्यों है?
डॉक्टर अभिजीत अक्लुजकर, एक हार्ट स्पेशलिस्ट, कहते हैं कि डिजिटल डिटॉक्स इसलिए महत्वपूर्ण है क्योंकि आजकल लोग स्मार्टफोन और लैपटॉप जैसे उपकरणों पर अधिक समय बिताते हैं, जिससे आलस, डिप्रेशन, नींद की समस्याएं और अनियमित ईटिंग हैबिट्स बढ़ रहे हैं। इसलिए हमें इन चीजों से दूर रहना चाहिए, यानी कुछ समय के लिए उन्हें छोड़ना चाहिए।
नींद में भी एक्टिव मुद्दा
सेहतमंद रहने के लिए नींद भी महत्वपूर्ण है। हमारे इम्यूनिटी का एक हिस्सा नींद है, जिसके अभाव में आप बीमार हो सकते हैं। नींद से भी डिजिटल डिटॉक्स का सीधा संबंध है। दरअसल, आवश्यकता से अधिक इन डिवाइसों का उपयोग एक कारण है कि आप बिल्कुल नहीं सोते या कम सोते हैं। मोबाइल पर घंटों बिताने से आपको नींद आती है। डिजिटल डिटॉक्स भी अच्छी नींद के लिए आवश्यक है।
डिप्रेशन भी बढ़ रहा है
इंसानों का तनाव और डिप्रेशन मोबाइल फोन्स या स्क्रीन पर अधिक समय बिताने से बढ़ रहा है। दरअसल, हमारे दिमाग में ऐसी चीजें अधिक स्टोर होती हैं, जो हम देखते हैं और फिर उसी तरह से रिएक्ट करते हैं। डिजिटल डिटॉक्स भी तनाव से राहत के लिए आवश्यक है।
डिजिटल शुद्धीकरण के लिए आवश्यक सुझाव
इसके लिए आपको उपकरण का उपयोग करने का समय तय करना होगा।
रात को सोने से 2 घंटे पहले फोन की स्क्रीन टाइम को कम करें, खासतौर पर
भी सोशल मीडिया पर कम समय बिताएं।
किताबों, अखबारों और मैगजीनों का उपयोग करें।
खाली समय में अपनी हॉबीज देखें।
स्वीकृति: ऊपर दी गई जानकारी पर अमल करने से पहले, विशेषज्ञों से सलाह अवश्य लें।