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Rajasthan News: शिक्षा विभाग ने सदर थाने में राज कोष का गबन करने और विभाग से फर्जीवाड़ा कर रुपये लेने का मामला दर्ज किया था। हालाँकि, इस मामले में जिला शिक्षा अधिकारी पीयूष कुमार शर्मा ने कहा कि जांच डायरेक्टरेट स्तर पर चल रही थी और उन्हें जांच के पूर्ण होने की जानकारी नहीं है।
Rajasthan News: राजस्थान के बारां जिले में खुद को डमी शिक्षक बनाकर स्कूल में पढ़ाने वाले शिक्षक दंपति के खिलाफ 9 करोड़ 31 लाख 50 हजार 373 रुपये की रिकवरी को लेकर सदर थाने में एफआईआर दर्ज कराई गई है। शिक्षा विभाग के सुन्दलक पीईईओ अनिल गुप्ता ने इस मामले की शिकायत की है। राजकीय प्राथमिक विद्यालय राजपुरा में शिक्षक दंपति ने लगभग दो दशक से अधिक समय तक सेवा की थी।
2017 में मामला सामने आया था
मिली जानकारी के अनुसार, विष्णु गर्ग 1996 से और उसकी पत्नी मंजू गर्ग 1999 से इसी स्कूल में पदस्थापित हुए। यह दोनों खुद स्कूल में विद्यार्थियों को नहीं पढ़ाते थे, बल्कि स्कूल में डमी शिक्षक नियुक्त करते थे। 2017 में भी इन शिक्षकों की यह गड़बड़ पकड़ी गई थी, लेकिन इंक्रीमेंट रोकने पर मामला रफा दफा हो गया था। राजस्थान में भाजपा की सरकार बनने के बाद शिक्षा विभाग ने दोनों डमी शिक्षकों पर दबाव डाला।
दोनों शिक्षकों की जगह लेने वाले गिरफ्तार
शिक्षा विभाग और सदर थाना पुलिस ने संयुक्त छाप डालकर इन दोनों शिक्षकों की जगह यहां पढ़ा रहे तीन शिक्षकों को भी गिरफ्तार किया था। दोनों शिक्षक गिरफ्तारी के डर से भाग गए। जो पुलिस के डर से अभी भी भाग रहे हैं।
कार्रवाई की चेतावनी मंत्री ने दी थी
शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने कहा कि ऐसे शिक्षकों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी, जो राजस्थान में मिसाल बनेगी। पुलिस जांच में शिक्षा विभाग से इन दंपत्ति द्वारा अब तक शिक्षा विभाग से उठाए गए कुल 9 करोड़ 31 लाख 50 हजार 373 रुपये का भुगतान देना बताया गया। जिसमें से विष्णु गर्ग को चार करोड़ 92 लाख 69 हजार 146 रुपये और मंजू गर्ग को चार करोड़ 38 लाख 81 हजार 227 रुपये दिए गए थे।