Home राज्य Haryana News: विधानसभा चुनाव से पहले हरियाणा में नए जिले और उपमंडल बनेंगे, कमेटी तीन महीने में रिपोर्ट देगी, दौड़ में ये नामों में सबसे आगे 

Haryana News: विधानसभा चुनाव से पहले हरियाणा में नए जिले और उपमंडल बनेंगे, कमेटी तीन महीने में रिपोर्ट देगी, दौड़ में ये नामों में सबसे आगे 

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Haryana News: विधानसभा चुनाव से पहले हरियाणा में नए जिले और उपमंडल बनेंगे, कमेटी तीन महीने में रिपोर्ट देगी, दौड़ में ये नामों में सबसे आगे 

Haryana News: नए जिलों को बनाने के लिए इनमें से पांच नाम सबसे आगे चल रहे हैं। तहसील और उमंडल भी इससे बन सकते हैं। इसके लिए एक कमेटी बनाई गई है। रिपोर्ट तीन महीने के अंदर सौपेगी। 22 जिले, छह मंडल, 80 उपमंडल और 94 तहसील राज्य में हैं।

Haryana News: हरियाणा में चुनावों से पहले नए जिले, उपमंडल, तहसीलें और उप तहसीलें बनाने की योजना है। प्रदेश सरकार ने कृषि मंत्री कंवर पाल गुर्जर की अध्यक्षता में कमेटी बनाई है, जो तीन महीने में जिलों, उपमंडलों, तहसीलों, उप तहसीलों, ब्लाक, पंचायतों और पंचायत समितियों के पुनर्गठन पर रिपोर्ट देगी।

नए जिले बनाने की दौड़ में असंध, हांसी, डबवाली, मानेसर और गोहाना सबसे आगे हैं। कलानौर और बवानीखेड़ा को भी उपमंडल बनाया जा सकता है। वित्तयुक्त टीवीएसएन प्रसाद ने घोषणा की, कि इस कमेटी में वित्त मंत्री जय प्रकाश दलाल, विकास और पंचायत राज्य मंत्री महिपाल ढांडा और शहरी स्थानीय निकाय राज्य मंत्री सुभाष सुधा शामिल होंगे।

प्रदेश में फिलहाल 22 जिले हैं

विकास एवं पंचायत विभाग के प्रधान सचिव और राजस्व एवं आपदा विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव कमेटी को प्रशासनिक ढांचे का मूल्यांकन करने में मदद करेंगे। कमेटी में कुछ विधायक भी शामिल किए जा सकते हैं अगर समिति चाहे। वर्तमान में राज्य में 22 जिले हैं। असंध, हांसी, डबवाली, मानेसर और गोहाना को जिला बनाने की लंबे समय से मांग उठती आ रही है।

फिलहाल, हांसी और डबवाली पुलिस जिले हैं। इसलिए, इनके सामान्य जिले बनने में कोई और बाधा नहीं है। सरकार ने पिछले दिसंबर में शिक्षा मंत्री कंवर पाल और सहकारिता मंत्री डा. बनवारी लाल की कमेटी की सिफारिश पर प्रशासनिक कार्यों को आसान बनाने के लिए छह नए उपमंडल बनाए थे, जो तत्कालीन उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला की अध्यक्षता में बनाए गए थे।

इनको उपमंडल का दर्जा मिल सकता है

इनमें शामिल हैं मानेसर (गुरुग्राम), नीलोखेड़ी (करनाल), इसराना (पानीपत), छछरौली (यमुनानगर), नांगल चौधरी (महेंद्रगढ़) और जुलाना (जींद)। सरकार ने तब यह घोषणा की, लेकिन भिवानी के बवानीखेड़ा और रोहतक के कलानौर को उपमंडल बनाने का विचार ठंडे बस्ते में चला गया। New Committee की सिफारिश पर कलानौर और बवानीखेड़ा को उपमंडल का दर्जा दिया जा सकता है।

2018 में लाडवा को उपमंडल का दर्जा दिया गया था

वर्तमान प्रशासनिक ढांचे की बात करें तो राज्य में 22 जिले, छह मंडल, 80 उपमंडल और 94 तहसील हैं। इसके अलावा 6841 गांव, 140 ब्लाक, 154 शहर और 49 उप तहसील हैं।

तत्कालीन कृषि मंत्री ओम प्रकाश धनखड़ की अध्यक्षता में गठित कमेटी ने मनोहर सरकार के पहले कार्यकाल में अंबाला कैंट, बाढड़ा, बड़खल, नारनौंद, बादली, उचाना, घरोंडा, पुन्हाना और रादौर को उपमंडल बनाया था।

इसके अतिरिक्त, दस नई तहसीलें और तीन नई उप-तहसीलें बनाई गईं। 2017 में तावड़ू को उपमंडल और 2018 में लाडवा को उपमंडल का दर्जा दिया गया था।

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