Anupama 22 July: रुपाली गांगुली और गौरव खन्ना स्टारर टीवी सीरियल अनुपमा का सोमवार का एपिसोड काफी एंटरटेनिंग रहने वाला है। क्योंकि अनुज और अनुपमा बहुत समय बाद फिर से मिलेंगे।
Anupama 22 July: सोमवार का एपिसोड, रुपाली गांगुली और गौरव खन्ना स्टारर टीवी शो अनुपमा में बहुत भावुक होगा। अनुपमा की अनुज कपाड़िया से मुलाकात होने पर भी वह उसे पहचानने से इनकार कर देगा। सीरियल की शुरुआत एक सीन से होगी जिसमें नंदिता और बापूजी एक ऑटो में मंदिर जा रहे हैं तभी रास्ते में वो पास वाले ऑटो में किसी को देखकर बुरी तरह घबरा जाएगी। नंदिता कहेगी कि वो सुशील था बापूजी। वो जानता है कि मैं आशा भवन में रहती हूं, कहीं उसने मेरी बच्ची को कुछ कर दियो तो। उसने कहा था कि मैंने यह बच्ची क्यों नहीं गिराई। बापूजी और सागर नंदिता को हिम्मत बंधाएंगे।
अनुज और अनुपमा का सामना होगा
वनराज इतने बड़े घर में अपने बापूजी और पूरे परिवार से दूर रहकर खुश नहीं है। मंदिर पहुंचते ही अनुज और अनुपमा उसे थामने के लिए दौड़ेंगे जब नंदिता के हाथ से बच्ची फिसल जाएगी। धीरे-धीरे अनुज बच्ची को पकड़ लेगा और अनुपमा पाएगी कि जिस आदमी को लोग भिखारी और पागल मानते हैं, उसका पति अनुज कपाड़िया है। हाल ही में अनुपमा अपने पति को देखकर खुश हो जाएगी, लेकिन अनुज का रिएक्शन उलटा होगा। वह अनुपमा के अनुज का नाम सुनते ही वहां से भाग जाएगा।
आखिर कैसे हुआ अनुज का यह हाल?
जब अनुपमा चीख-चीखकर उसे पुकारने लगेगी, वहाँ लोग जुट जाएंगे। शाह परिवार और मंदिर के पुजारियों समेत हर किसी को पता चल जाएगा कि जिसे वे अभी तक भिखारी समझ रहे थे, वह अनुज कपाड़िया है। लीला बा, वनराज शाह, तपिश, काव्या, डिंपी सबके मन में आखिर अनुज का यह हाल कैसे हुआ? सभी अनुज की तलाश में निकल जाएंगे। वनराज भी अनुज को खोजेगा और अनुपमा की मदद करेगा। अनुज को देखते ही अनुपमा फिर से हाथ छुड़ाकर वहां से भाग जाएगी।
डिंपल को जमकर लताड़ेगा तपिश
अनुपमा संतों से या तो उसका अनुज उसे दें, या उसे अपने साथ ले चलें। बातों-बातों में अनुपमा को यह भी याद आएगा कि उसकी बेटी आध्या भी अनुज के साथ हुआ करती थी, लेकिन क्या हुआ? वह कहां चली गई? अनुज अभी किसी सवाल का जवाब नहीं दे सकता। उसे याद तक नहीं है कि शाह और अनुपमा का परिवार कौन है? वह किसी को नहीं जानता। उधर, तपिश डिंपल को डांटेगा क्योंकि वह बदल चुकी है और उस लोगों का साथ नहीं देना चाहती है जिन्होंने बुरे वक्त में हमारा साथ दिया था।